हर साल दीपावली और छठ पूजा पर देशभर में भारी संख्या में लोग अपने घर लौटते हैं। यह समय खासकर बिहार, उत्तर प्रदेश और झारखंड जाने वाली ट्रेनों में सबसे ज्यादा भीड़ का होता है। लाखों यात्री दिल्ली, मुंबई, कोलकाता जैसे बड़े शहरों से अपने गांव और कस्बों की ओर रुख करते हैं ताकि त्यौहार अपने परिवार संग मना सकें।
रेलवे के लिए यह समय बड़ी चुनौती लेकर आता है क्योंकि सीमित संख्या में चल रही नियमित ट्रेनों में सीटें जल्द फुल हो जाती हैं। रिजर्वेशन शुरू होते ही टिकटों का वेटिंग लिस्ट कई सौ तक पहुंच जाती है। ऐसे हालात में सामान्य यात्री परेशानी महसूस करते हैं और काफी लोग टिकट के बिना यात्रा करने को मजबूर हो जाते हैं।
इसी भीड़ और परेशानी को देखते हुए हर साल की तरह इस बार भी भारतीय रेलवे ने दीपावली और छठ पूजा को ध्यान में रखते हुए 8 जोड़ी स्पेशल ट्रेनें चलाने का फैसला किया है। इन ट्रेनों का सीधा लाभ खासकर बिहार, उत्तर प्रदेश और पूर्वी भारत के उन यात्रियों को मिलेगा, जिन्हें त्यौहार पर समय पर घर पहुंचना है।
Puja Special Trains 2025
भारतीय रेलवे ने घोषणा की है कि इस त्योहार सीजन में यात्रियों की सुविधा के लिए 8 जोड़ी स्पेशल ट्रेनें चलाई जाएंगी। जोड़ी का अर्थ है – एक ट्रेन जाने वाली और दूसरी ट्रेन वापस आने वाली, यानी कुल 16 ट्रेनें अस्थायी तौर पर चलाई जाएंगी।
इन ट्रेनों का संचालन मुख्य रूप से दिल्ली, मुंबई, अहमदाबाद और कोलकाता जैसे बड़े शहरों से बिहार, उत्तर प्रदेश और झारखंड के विभिन्न स्टेशनों के बीच होगा। जहां सबसे ज्यादा प्रवासी रहते हैं और त्योहार पर घर लौटना चाहते हैं।
स्पेशल ट्रेनों का संचालन अक्टूबर के अंतिम सप्ताह से शुरू होकर नवंबर के दूसरे सप्ताह तक रहेगा। इससे दीपावली (29 अक्टूबर) और छठ पूजा (2 से 5 नवंबर) दोनों अवसरों पर यात्रियों को आसानी होगी।
किन रूटों पर चलेंगी स्पेशल ट्रेनें
त्योहारों पर चलने वाली ट्रेनों की सबसे ज्यादा मांग उन्हीं मार्गों पर होती है जहां बड़ी संख्या में प्रवासी कामकाज या नौकरी के सिलसिले में रहते हैं। इस बार घोषित हुई 8 जोड़ी ट्रेनें भी इन्हीं भीड़भाड़ वाले रूटों को ध्यान में रखकर तय की गई हैं।
- दिल्ली से पटना
- दिल्ली से दरभंगा
- मुंबई से पटना
- अहमदाबाद से छपरा
- मुंबई से गोरखपुर
- कोलकाता से पटना
- दिल्ली से वाराणसी
- दिल्ली से मुजफ्फरपुर
इनमें से ज्यादातर ट्रेनें सप्ताह में 2 से 3 दिन चलेंगी, जबकि कुछ रोजाना भी चलाई जा सकती हैं। रेलवे ने हर ट्रेन में स्लीपर, एसी थर्ड, एसी सेकेंड और जनरल डिब्बे जोड़ने का इंतजाम किया है ताकि हर वर्ग के यात्रियों को टिकट आसानी से मिल सके।
टिकट बुकिंग और किराया
स्पेशल ट्रेनों के लिए टिकट की बुकिंग IRCTC वेबसाइट, मोबाइल ऐप और रेलवे रिजर्वेशन काउंटरों पर उपलब्ध है। यात्रियों को सामान्य ट्रेनों की तरह ही इनका रिजर्वेशन कराना होगा।
हालांकि, स्पेशल ट्रेनें फेस्टिवल सीजन होने के कारण थोड़े अधिक किराए पर चलाई जाती हैं। किराया सामान्य मेल/एक्सप्रेस से करीब 10-20 प्रतिशत अधिक हो सकता है। फिर भी, यह टैक्सी, बस या फ्लाइट के मुकाबले काफी सस्ता विकल्प रहेगा।
रिजर्वेशन की शुरुआत रेलवे ने पहले ही कर दी है और सीटों की उपलब्धता तेजी से भर रही है। यात्रियों को सलाह है कि वे यात्रा की योजना बनाकर जल्द टिकट बुक करें ताकि वेटिंग की समस्या से बचा जा सके।
त्योहार यात्रियों की बड़ी राहत
दीपावली और छठ पूजा पूर्वी भारत के लिए सबसे बड़े पर्वों में से हैं। इन दिनों लोगों की भावनाएं अपने घर परिवार से जुड़ी हुई होती हैं। रेलवे का यह प्रयास यात्रियों के लिए बड़ी राहत है क्योंकि नियमित ट्रेनों की सवारियां इस समय कई गुना बढ़ जाती हैं।
कई बार स्टेशन पर स्थिति इतनी भीड़भाड़ वाली हो जाती है कि यात्रियों के लिए प्लेटफॉर्म पर खड़ा होना भी मुश्किल हो जाता है। खासकर दिल्ली, मुंबई और कोलकाता जैसे महानगरों में रहने वाले प्रवासी मजदूर तो सिर्फ इन्हीं स्पेशल ट्रेनों का इंतजार करते हैं।
स्पेशल ट्रेनों की उपलब्धता का एक और फायदा यह है कि बस ऑपरेटर्स और अन्य प्राइवेट ट्रांसपोर्ट सेवाएं मनमाना किराया नहीं वसूल पाएंगी। रेलवे की सस्ती और सुरक्षित यात्रा का विकल्प हमेशा से आम आदमी की पहली पसंद रहता है।
रेलवे की तैयारी और सुरक्षा इंतजाम
स्पेशल ट्रेनों के संचालन के साथ रेलवे ने यात्रियों की सुरक्षा और सुविधा पर भी खास ध्यान देने की बात कही है। प्लेटफॉर्म पर अतिरिक्त स्टाफ की ड्यूटी लगाई जाएगी और भीड़ नियंत्रण के लिए जीआरपी और आरपीएफ की तैनाती बढ़ाई जाएगी।
लंबी दूरी की ट्रेनों में सफाई और खानपान की सुविधा पर भी नजर रखी जाएगी। रेलवे ने कहा है कि कोविड महामारी के बाद भीड़ संभालने में मिली ट्रेनिंग का अच्छा उपयोग इस साल की फेस्टिवल भीड़ को संभालने में किया जाएगा।
इसके अलावा रेलवे यह भी देखेगा कि ज्यादातर स्पेशल ट्रेनें उन रूटों पर जाएं जहां ऑलरेडी मांग सबसे ज्यादा है। यह व्यवस्था करने के पीछे उद्देश्य यह है कि यात्रियों को परेशानी न हो और अधिकतम सीटें उपलब्ध हो सकें।
निष्कर्ष
त्योहारों में अपने घर जाने के इंतजार में बैठे लाखों यात्रियों के लिए रेलवे की 8 जोड़ी स्पेशल ट्रेनों की सौगात किसी राहत से कम नहीं है। दीपावली और छठ पूजा पर इन ट्रेनों से यात्रा करना न केवल जेब पर हल्का होगा, बल्कि लंबी दूरी की सुरक्षित यात्रा का भरोसा भी मिलेगा।