त्योहारी सीजन आते ही लोगों को सबसे ज्यादा इंतजार रहता है छुट्टियों का, खासकर अक्टूबर का महीना जब नवरात्रि, दशहरा और अन्य धार्मिक पर्व एक के बाद एक आते हैं। इस बार अक्टूबर 2025 में भी कुछ ऐसा ही होने वाला है क्योंकि सरकार और कई राज्यों ने लगातार 5 दिन तक सार्वजनिक अवकाश (Public Holidays) घोषित किए हैं।
ये छुट्टियाँ न केवल सरकारी कर्मचारी बल्कि निजी कंपनियों के कर्मचारी और स्कूली बच्चे भी भरपूर एंजॉय करेंगे। त्योहारों का माहौल, परिवारिक समय और घूमने-फिरने का अवसर सबको एक साथ मिला है। ऐसे में यह मौका सचमुच परिवारिक आनंद और विश्राम का बड़ा अवसर लेकर आया है।
Public Holidays 2025
अक्टूबर 2025 में नवरात्रों से लेकर दशहरे तक कई बड़े पर्व आ रहे हैं। सरकारी कैलेंडर और राज्य स्तरीय अधिसूचना के अनुसार 9 अक्टूबर से लेकर 13 अक्टूबर तक लगातार छुट्टियाँ रहेंगी। यानी पूरे भारत में 5 दिनों तक एक खास तरह का लंबा अवकाश देखने को मिलेगा।
- 9 अक्टूबर – महा अष्टमी (नवरात्र)
- 10 अक्टूबर – महानवमी
- 11 अक्टूबर – रविवार (साप्ताहिक अवकाश)
- 12 अक्टूबर – विजयदशमी (दशहरा)
- 13 अक्टूबर – इद-ए-मिलाद (कई राज्यों में अवकाश)
इस तरह लगातार छुट्टियों का यह सिलसिला कर्मचारियों और बच्चों के लिए लंबे वीकेंड का मज़ा देगा।
बच्चों के लिए डबल मज़ा
स्कूलों में अक्टूबर का महीना वैसे भी खास रहता है क्योंकि इस दौरान परीक्षाएँ खत्म हो चुकी होती हैं और त्योहारी छुट्टियाँ शुरू होती हैं। लगातार 5 दिन की छुट्टियाँ बच्चों के लिए सोने पर सुहागा जैसी होंगी क्योंकि वे अपने घर-परिवार के साथ त्योहार का आनंद ले पाएंगे।
बच्चे इन दिनों में न केवल त्योहार की तैयारियों में हिस्सा लेंगे बल्कि गैजेट्स, टीवी और घूमने-फिरने का भी पूरापूरा मज़ा उठा सकेंगे। माता-पिता भी इस दौरान उन्हें बाहर घुमाने, रिश्तेदारों से मिलने और पर्व की परंपराओं को सिखाने का अवसर ले सकते हैं।
कर्मचारियों ने राहत की सांस ली
जहाँ बच्चों के लिए यह समय खेल और खुशियों से भरा होगा वहीं कर्मचारियों के लिए यह छुट्टियों का ऐलान किसी राहत से कम नहीं है। लगातार काम करने के बाद जब 4-5 दिन का गैप मिलता है तो मानसिक और शारीरिक आराम दोनों हो पाता है।
कर्मचारी परिवार के साथ गुणवत्तापूर्ण समय बिताने के साथ-साथ छोटे-मोटे घूमने या घरेलू कार्यों को भी आसानी से निपटा सकेंगे। कई कर्मचारी इस छुट्टी को मिनी-वेकेशन की तरह भी इस्तेमाल करने की तैयारी कर चुके हैं।
आर्थिक और सामाजिक दृष्टिकोण
त्योहारों और छुट्टियों का संबंध केवल आराम से ही नहीं जुड़ा है बल्कि इसका सीधा फायदा बाजार और अर्थव्यवस्था को भी होता है। जब लोग छुट्टियों में घर से बाहर निकलते हैं तो बाजार में खरीददारी और आवागमन बढ़ता है।
ट्रैवल एजेंसियां, होटल इंडस्ट्री, शॉपिंग मॉल और स्थानीय बाजार सभी को लाभ मिलता है। खासकर दशहरे और नवरात्रों के समय सोने-गहनों से लेकर कपड़ों, मिठाइयों और इलेक्ट्रॉनिक सामानों तक की बिक्री तेज हो जाती है।
सरकारी और निजी दफ्तरों में व्यवस्था
सरकारी संस्थानों और बैंकों ने भी अक्टूबर की छुट्टियों की अपनी लिस्ट पहले ही जारी कर दी है। जिन राज्यों में अलग-अलग पर्वों का महत्व है वहां स्थिति के अनुसार छुट्टियों को एडजस्ट किया गया है।
हालांकि प्राइवेट कंपनियों में छुट्टियों की डिटेल हर जगह अलग होती है लेकिन अधिकतर कंपनियां राष्ट्रीय और बड़े धार्मिक अवकाशों को मानती हैं। इसलिए कर्मचारियों को ज्यादातर जगहों पर दिवाली से पहले अक्टूबर में इस लंबे अवकाश का लाभ मिलेगा।
यात्रा और पर्यटन की बढ़ी बुकिंग
लगातार पांच दिन की छुट्टी मिलना भारतीय परिवारों के लिए बहुत बड़ी बात होती है। ऐसे में ट्रैवल और टूरिज्म सेक्टर में बुकिंग की बाढ़ आ गई है। हिल स्टेशन, तीर्थ स्थल और मनोरंजन पर्यटन स्थलों की टिकट तेजी से भर रही है।
रेलवे और एयरलाइंस ने भी टिकट एडवांस में बुक करने की सलाह दी है क्योंकि त्योहारों और छुट्टियों के दौरान भीड़ काफी बढ़ जाती है। परिवार घूमने का पूरा प्लान पहले से बना रहे हैं ताकि छुट्टियों का मज़ा दोगुना हो सके।
परिवारिक समय और सांस्कृतिक महत्व
त्योहारों का असली महत्व परिवार और संस्कृति को जोड़ने में है। लगातार छुट्टियाँ मिलने से परिवार के सभी सदस्य साथ बैठकर घर की सजावट, पूजा, अनुष्ठान और परंपरागत आयोजनों का आनंद ले सकेंगे।
बच्चे अपने बड़ों से धार्मिक और सांस्कृतिक परंपराएं सीखेंगे। रामलीला, दशहरा मेला, दुर्गा पूजा पंडाल जैसे आयोजन इस छुट्टी को और भी खास बना देंगे।
निष्कर्ष
अक्टूबर 2025 की यह लगातार 5 दिन की छुट्टियाँ बच्चों से लेकर कर्मचारियों और व्यापारियों तक सबके लिए खुशी लेकर आई हैं। यह समय परिवारिक जुड़ाव, विश्राम और मनोरंजन का है, जिसे हर कोई लंबे समय तक याद रखेगा। छुट्टियों के साथ त्योहारों का संगम सचमुच लोगों की मौज और उमंग को दोगुना कर देगा।